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ISRO SPADEX Mission : भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) ने स्पेस डॉकिंग एक्सपेरीमेंट (SPADEX) मिशन के तहत दो उपग्रहों को सफलतापूर्वक अनडॉक (Undock) कर एक ऐतिहासिक उपलब्धि हासिल की है। यह सफलता भारत के अंतरिक्ष अभियानों में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुई है और देश की अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी को और अधिक उन्नत स्तर पर पहुंचा दिया है।

क्या होता है अनडॉकिंग (Undocking)?

अनडॉकिंग (Undocking) का अर्थ होता है अंतरिक्ष में आपस में जुड़े दो उपग्रहों को एक निश्चित प्रक्रिया के तहत अलग करना, ताकि वे स्वतंत्र रूप से संचालित हो सकें। इसरो के इस मिशन में SDX-01 और SDX-02 उपग्रहों को सफलतापूर्वक अलग किया गया, जिससे भारत की स्पेस डॉकिंग और ऑटोनॉमस मिशन की क्षमता को साबित किया गया।

कैसे हुआ अनडॉकिंग ऑपरेशन?

अनडॉकिंग प्रक्रिया को एक सटीक अनुक्रम में पूरा किया गया, जिसमें कई महत्वपूर्ण चरण शामिल थे:

  1. SDX-2 का विस्तार – सबसे पहले, SDX-2 को धीरे-धीरे विस्तारित किया गया।
  2. कैप्चर लीवर-3 का रिलीज़ – इसके बाद योजनाबद्ध तरीके से कैप्चर लीवर-3 को रिलीज़ किया गया।
  3. कैप्चर लीवर का विघटन – अंतिम चरण में SDX-2 में लगे कैप्चर लीवर को पूरी तरह से निष्क्रिय किया गया।
  4. डिकैप्चर कमांड का निष्पादन – इन सभी तकनीकी चरणों के बाद, दोनों उपग्रहों को डिकैप्चर कमांड दिया गया, जिससे वे स्वतंत्र रूप से अलग हो गए।

इस उपलब्धि पर क्या बोले विज्ञान मंत्री?

इसरो की इस महत्वपूर्ण सफलता पर विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री ने पूरी इसरो टीम को बधाई दी। उन्होंने कहा कि यह हर भारतीय के लिए गर्व का क्षण है, क्योंकि इस तकनीकी उपलब्धि के साथ भारत ने अंतरिक्ष अभियानों में अपनी सक्षमता को और मजबूत कर लिया है।

SPADEX मिशन: भविष्य की अंतरिक्ष परियोजनाओं का आधार

SPADEX मिशन की यह सफलता भविष्य में कई महत्वपूर्ण अंतरिक्ष अभियानों के लिए नए रास्ते खोल सकती है, जिनमें शामिल हैं:

  • भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन (Indian Space Station) – भारत का अपना स्थायी अंतरिक्ष स्टेशन स्थापित करने का सपना अब और भी करीब आ गया है।
  • चंद्रयान-4 (Chandrayaan-4) – चंद्रमा पर भविष्य के मिशनों के लिए यह तकनीक बहुत मददगार साबित होगी।
  • गगनयान (Gaganyaan Program) – भारत के पहले मानवयुक्त अंतरिक्ष मिशन के लिए यह एक मील का पत्थर साबित हो सकता है।

SPADEX मिशन: एक ऐतिहासिक कदम

SPADEX मिशन को 30 दिसंबर 2024 को लॉन्च किया गया था। इस मिशन का उद्देश्य था भविष्य के अंतरिक्ष अभियानों के लिए आवश्यक रेंडेज़वस, डॉकिंग और अनडॉकिंग तकनीकों का प्रदर्शन करना। जनवरी की शुरुआत में, इस मिशन के तहत दो उपग्रहों को पहले 15 मीटर की दूरी से घटाकर 3 मीटर तक लाया गया, जिससे डॉकिंग और अनडॉकिंग की प्रक्रिया को अंजाम दिया गया।

इस सफलता के साथ, भारत ने अपनी अंतरिक्ष तकनीक को और मजबूत कर लिया है और अब वह अमेरिका, रूस और चीन जैसे देशों की सर्वोच्च अंतरिक्ष शक्तियों की सूची में शामिल हो गया है।