
Dollar vs Rupee : भारतीय शेयर बाजारों में तेजी और अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों के रिकॉर्ड निचले स्तर पर पहुंचने के कारण मंगलवार, 15 अप्रैल को शुरुआती कारोबार के दौरान भारतीय रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 39 पैसे की मजबूती के साथ 85.71 रुपये प्रति डॉलर पर पहुंच गया।
विदेशी मुद्रा कारोबारियों के मुताबिक, भले ही विदेशी पूंजी बाजार से बाहर जा रही हो, लेकिन अमेरिकी डॉलर की कमजोरी ने रुपये को संबल प्रदान किया है। इसके अलावा, अमेरिका द्वारा भारत पर प्रस्तावित 26 प्रतिशत अतिरिक्त शुल्क को जुलाई तक टालने के फैसले ने भी रुपये की स्थिति को मजबूत किया है।
रुपये की शुरुआत मजबूत स्तर पर, रिकॉर्ड बढ़त दर्ज
अंतरबैंक विदेशी मुद्रा बाजार में मंगलवार को रुपया 85.85 रुपये प्रति डॉलर के स्तर पर खुला, जो पिछले सत्र की तुलना में ज्यादा मजबूत था। कुछ ही देर में यह 85.71 रुपये प्रति डॉलर तक पहुंच गया, जिससे यह स्पष्ट हुआ कि बाजार में रुपये के प्रति विश्वास बना हुआ है। यह पिछले बंद भाव की तुलना में 39 पैसे की बढ़त को दर्शाता है।
पिछले कारोबारी सत्र में भी दर्ज हुई थी तेज बढ़त
इससे पहले शुक्रवार को भी रुपये ने जोरदार प्रदर्शन किया था। उस दिन यह 58 पैसे की बढ़त के साथ 86.10 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ था। सोमवार को आंबेडकर जयंती के उपलक्ष्य में विदेशी मुद्रा बाजार बंद रहे, जिससे व्यापार में एक दिन का विराम रहा।
डॉलर इंडेक्स में गिरावट, वैश्विक असर
दुनिया की छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर इंडेक्स मंगलवार को हल्की बढ़त के बावजूद 100 के नीचे 99.46 के स्तर पर बना रहा। सोमवार को इसमें 0.7 प्रतिशत की गिरावट देखी गई थी, जिससे यह तीन साल के निचले स्तर पर पहुंच गया था।
डॉलर में यह गिरावट तब शुरू हुई जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अप्रैल की शुरुआत में आक्रामक व्यापार नीतियों और 'लिबरेशन डे' की घोषणा की। इसके बाद डॉलर इंडेक्स में चार प्रतिशत से ज्यादा की गिरावट देखी गई है।
घरेलू शेयर बाजार की तेजी ने भी रुपये को दिया समर्थन
भारतीय शेयर बाजार ने भी मंगलवार को शानदार प्रदर्शन किया। बीएसई सेंसेक्स 1,516.53 अंक की बढ़त के साथ 76,673.79 के स्तर पर पहुंच गया। वहीं, एनएसई निफ्टी 454.60 अंक चढ़कर 23,283.15 पर रहा। यह दोनों सूचकांक शुक्रवार को भी लगभग दो प्रतिशत की तेजी के साथ बंद हुए थे।
कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट ने राहत दी
अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रूड की कीमत 0.06 प्रतिशत की गिरावट के साथ 64.92 डॉलर प्रति बैरल रही। यह गिरावट भारत जैसी तेल आयातक अर्थव्यवस्थाओं के लिए बड़ी राहत है क्योंकि इससे व्यापार घाटा और महंगाई दोनों पर सकारात्मक असर पड़ता है।
एफआईआई द्वारा बिकवाली, फिर भी बाजार में तेजी
शेयर बाजार से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) ने शुक्रवार को कुल 2,519.03 करोड़ रुपये के शेयरों की शुद्ध बिकवाली की। इसके बावजूद भारतीय बाजारों में सकारात्मक रुख बना रहा, जो यह दर्शाता है कि घरेलू निवेशकों का भरोसा अब भी मजबूत है।
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